कलेक्टर ने राजस्व व पुलिस अधिकारियों की बैठक में दिए सख्त निर्देश.. तीन दिनों में प्रशासन ने एक सौ हाईवा से अधिक अवैध रेत जप्त की, पाॅकलेन मशीन, ट्रेलर भी जप्त हुआ…

कोरबा/छत्तीसगढ़:-
रेत, डीजल-पेट्रोल चोरी और कबाड़ के अवैध धंधो पर कलेक्टर किरण कौशल ने सख्त रूख अख्तियार कर लिया है। उन्होने आज सुबह जिले के राजस्व और पुलिस अधिकारियों की बैठक में अवैध रेत खनन, डीजल-पेट्रोल चोरी और कबाड़ के गैर कानूनी कारोबार करने वालो के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं। कलेक्टर किरण कौशल के निर्देश पर ही पिछले तीन दिनों में प्रशासन ने अवैध रेत खोदने वाले माफियाओं के विरूद्ध कठोर कार्यवाही की है। इनमें से एक जगह भिलाई खुर्द में तो स्वयं कलेक्टर व एसपी अभिषेक मीणा ने पहुंच कर भारी मात्रा में अवैध रूप से खोदकर रखी गई रेत पकड़ी थी। पिछले तीन दिनों में जिला प्रशासन की टीमों ने अलग-अलग जगहों पर दबिश देकर 103 हाईवा से अधिक अवैध रेत जप्त की है। अवैध रेत के उत्खनन में लगी पाॅकलेन मशीन सहित टेलर, दो कांक्रीट मिलर, एक हाइड्रा, दो हाइड्रोलिक रिंग और अवैध परिवहन करते हुए एक हाइवा और दो ट्रैक्टरों को भी जप्त किया गया है। कलेक्टर-एसपी की इस संयुक्त कार्यवाही से जिले में रेत का अवैध कारोबार करने वाले लोगो में हड़कंप मच गया है। कलेक्टर श्रीमती कौशल ने कहा है कि ऐसी कार्यवाईयां आगे भी जारी रहेंगी। अवैध रेत खनन, डीजल-पेट्रोल चोरी के साथ-साथ कबाड़ का अवैध धंधा करने वालो पर प्रशासन की पैनी नजर है, और ऐसे अवैध धंधे करते पकड़े जाने पर सख्त से सख्त कार्यवाही होगी। बैठक में एडीएम संजय अग्रवाल, नगर निगम आयुक्त एस. जयवर्धन, अपर कलेक्टर प्रियंका महोबिया सहित डीएसपी मुख्यालय रामगोपाल करियारे, शहर सीएसपी राहूल देव, अनुविभागीय राजस्व अधिकारी सुनील नायक और अन्य राजस्व एवं पुलिस अधिकारी भी मौजूद रहे।
आज की बैठक में कलेक्टर ने सभी अधिकारियों को अवैध रेत खनन सहित डीजल-पेट्रोल और कबाड़ चोरी की किसी भी प्रकार की सूचना मिलने पर तत्काल रिस्पांस करने के निर्देश दिए हैं। कलेक्टर कौशल ने कहा कि अवैध कारोबार से शासन-प्रशासन की जनमानस में छवि खराब होती है साथ ही इसके कारण आगे बड़ी घटनाओं-दुर्घटनाओं से भी इनकार नहीं किया जा सकता। ऐसे अवैध कारोबारियों पर सख्त कार्यवाही से शासन-प्रशासन के प्रति जनमानस का विश्वास बढ़ता है। उन्होने अधिकारियो को सख्त हिदायत भी दी कि सूचना मिलने पर भी अवैध कारोबार के खिलाफ कार्यवाही नहीं करने वाले अधिकारियों के विरूद्ध प्रशासनिक कार्यवाही की अनुशंसा की जाएगी।