मुंबई:- भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) ने फेसबुक के स्वामित्व वाली मेसेजिंग ऐप व्हाट्सऐप (Whatsapp) को देश में ‘चरणबद्ध’ तरीके से भुगतान सेवा शुरू करने की बृहस्पतिवार को अनुमति दे दी लेकिन शर्त यह रखा है कि इसे फिलहाल 2 करोड़ यूजर्स के लिए ही जारी किया जाएगा। बता दें कि भारत में व्हाट्सएप के यूजर्स की संख्या 40 करोड़ से अधिक है। भुगतान कारोबार में काम कर रही कंपनियों का मानना रहा है कि व्हाट्सऐप को भुगतान सेवा शुरू करने की अनुमति देने से भारतीय डिजिटल भुगतान क्षेत्र में भुगतान की संख्या बहुत ज्यादा बढ़ जाएगी।
Starting today, people across India will be able to send money through WhatsApp 💸 This secure payments experience makes transferring money just as easy as sending a message. pic.twitter.com/bM1hMEB7sb
— WhatsApp Inc. (@WhatsApp) November 6, 2020
दो साल से चल रही है टेस्टिंग
व्हाट्सऐप को सिर्फ सरकार की ओर से हरी झंडी मिलने का ही इंतजार था, क्योंकि कंपनी पिछले दो साल से भारत में WhatsApp Pay की टेस्टिंग कर रही है। कई हजार यूजर्स पहले से ही बीटा वर्जन पर WhatsApp Pay का इस्तेमाल कर रहे हैं। ऐसे में उम्मीद है कि कंपनी जल्द ही WhatsApp Pay को भारत में जारी करेगी।
NPCI ने तय की थर्ड पार्टी एप के लिए लेनदेन की सीमा
NPCI ने व्हाट्सऐप को हरी झंडी देने के साथ ही थर्ड पार्टी एप के लिए यूपीआई लेनदेन की सीमा तय की है जो कि एक जनवरी 2021 से लागू होगी। नए नियम के तहत सिंगर थर्ड पार्टी एप कुल यूपीआई लेनदेन का अधिकतम 30 फीसदी ही होगा। सरकार ने यह फैसला यूपीआई में किसी एप के एकाधिकार को रोकने के लिए लिया है।
एनपीसीआई ने हाल ही में कहा है भारत में अब हर महीने दो अरब यूपीआई ट्रांजैक्शन हो रहे हैं। एक जनवरी 2021 से लागू हो रहे नए नियम को एक उदाहरण से समझें तो मान लीजिए कि अलग-अलग यूपीआई एप से हर महीने तीन अरब यूपीआई ट्रांजैक्शन होते हैं तो इसका 30 फीसदी यानी अधिकतम 90 लाख ट्रांजैक्शन ही किसी एक थर्ड पार्टी एप यानी पेटीएम, गूगल और जियो पे एक महीने में किए जा सकेंगे।